

स्पेशल स्टोरी (Special Story)
प्रधानमंत्री पैकेज से बिहार में बदला विकास का नक्शा
ऊर्जा, दूरसंचार और पर्यटन के क्षेत्र में खींची गई विकास की नई लकीर
📍 तिरहूत न्यूज़ | पटना | 15 जून
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा घोषित विशेष पैकेज ने बिहार को विकास के एक नए रास्ते पर ला खड़ा किया है। ऊर्जा, दूरसंचार, सूचना प्रौद्योगिकी और पर्यटन के क्षेत्र में जो योजनाएं लागू हुईं, वे न सिर्फ़ कागज़ों तक सीमित रहीं, बल्कि ज़मीन पर तेज़ी से उतरती नजर आ रही हैं।
🔋 ऊर्जा के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव
ऊर्जा मंत्रालय की दो बड़ी योजनाएं अब पूरी हो चुकी हैं:
• दीनदयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना के तहत ₹5,856 करोड़ की लागत से ग्रामीण विद्युतीकरण का कार्य सफलतापूर्वक संपन्न हुआ।
• इंटीग्रेटेड पावर डेवलपमेंट स्कीम (IPDS) के तहत 33/11 केवी स्टेशन, ट्रांसफॉर्मर और हाई टेंशन वायर की स्थापना पर ₹255 करोड़ खर्च किए गए।
• बक्सर थर्मल पावर प्रोजेक्ट, जिसकी लागत ₹10,000 करोड़ है, उस पर तेज़ी से काम जारी है।
दूरसंचार और डिजिटल कनेक्टिविटी को बढ़ावा
दूरसंचार विभाग ने बिहार को डिजिटल नेटवर्क से जोड़ने की दिशा में तेज़ गति से कार्य किया है:
• 1000 नए मोबाइल टावर (बीटीएस) स्थापित किए गए, जिनकी लागत ₹250 करोड़ रही।
• बीएसएनएल द्वारा राज्य के प्रमुख पर्यटन स्थलों — राजगीर, नालंदा, गया, वैशाली और पटना — में 30 वाई-फाई हॉटस्पॉट लगाए गए, जिस पर ₹15 करोड़ खर्च हुआ।
डिजिटल बिहार की ओर मजबूत कदम
इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने स्टार्टअप और युवाओं के लिए नए अवसर खोले:
• दरभंगा और भागलपुर में सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क की स्थापना।
• ग्रामीण BPO सेंटर स्थापित किए गए, जिससे स्थानीय युवाओं को आईटी सेक्टर से जोड़ने में मदद मिलेगी।
• मुजफ्फरपुर और बक्सर में एनआईईएलआईटी केंद्र, IIT पटना में मेडिकल इलेक्ट्रॉनिक्स इनक्यूबेटर, और पटना में आईसीटी अकादमी पर कुल ₹52.52 करोड़ खर्च किए गए।
पर्यटन को नई रफ्तार
स्वदेश दर्शन योजना और पीआरएएसएडी योजना के अंतर्गत बिहार के धार्मिक, सांस्कृतिक स्थलों को सजाया-संवारा गया:
• जैन सर्किट: चंपापुरी और पावापुरी
• बौद्ध सर्किट: वैशाली-बोधगया-विक्रमशिला
• गांधी सर्किट: भितिहरवा से तुरकौलिया
• कांवरिया रूट: सुल्तानगंज से देवघर
इन सब पर कुल ₹248 करोड़ का निवेश हुआ।
• पटना साहिब का सौंदर्यीकरण ₹44.55 करोड़ की लागत से पूरा हुआ।
• बोधगया में भारतीय पर्यटन एवं यात्रा प्रबंधन संस्थान (IITTM) का ₹50 करोड़ लागत वाला स्थायी परिसर प्रस्तावित है।
निष्कर्ष: बिहार बदल रहा है
इन योजनाओं के धरातल पर सफल क्रियान्वयन से स्पष्ट है कि बिहार अब केवल कृषि और विरासत का केंद्र नहीं रह गया है। अब यह राज्य ऊर्जा, तकनीक, डिजिटल इंडिया और आध्यात्मिक पर्यटन के क्षेत्र में अपनी अलग पहचान बना रहा है। प्रधानमंत्री पैकेज ने बिहार को विकास की मुख्यधारा में लाकर खड़ा कर दिया है।
📌 तिरहूत न्यूज़ विशेष प्रस्तुति | रिपोर्ट: SHABD, पटना